उत्तर प्रदेश

कार्यदायी संस्थाओं की लापरवाही पर नाराज हुए डीएम ।

धीमी प्रगति पर नाराजगी व्यक्त करते हुए ठेकदार पर एफआईआर व काली सूची में डालने का सख्त निर्देश ।

 

गाजीपुर। 

जिलाधिकारी एमपी  सिंह  की अध्यक्षता में बुधवार की शाम जिला पंचायत सभागार में निर्माण कार्य, क्रिटिकल गैप्स , मुख्यमंत्री की घोषणा की समीक्षा बैठक सम्पन्न हुई।

इसमें जिलाधिकारी ने धनावंटन के बाद भी कार्य प्रारम्भ न करने पर आरईडी, डीआईओएस एवं प्रधानाचार्य राजकीय बालिका इंटर कालेज मुहम्मदाबाद का वेतन रोकने का आदेश दिया।

इसके साथ ही कार्यदायी संस्था यूपीपीसीएल एवं उप्र पुलिस आवास निगम द्वारा धीमी प्रगति पर नाराजगी व्यक्त करते हुए स्पष्टीकरण मांगा।
बैठक में जिलाधिकारी ने जल निगम ग्रामीण/शहरी , सीएनडीएफ , आवास विकास परिषद , लोनिवि , आरईडी , यूपी सिडको , यूपी पीसीएल वाराणसी , आजमगढ , राजकीय निर्माण निगम आजमगढ , बलिया , वाराणसी , भदोही , राज्य निर्माण संघ वाराणसी , जल निगम वाराणसी , अभियंत्रण एवं संघ सहकारी लिमिटेड , देवकली पम्प कैनाल प्रथम , द्वितीय, सिंचाई निर्माण खंड एवं अन्य कार्यदायी संस्थाओं के निर्माण कार्यों की विस्तृत समीक्षा की।

जिलाधिकारी ने सर्वप्रथम माह सितम्बर 2022 में पूर्ण होने वाले कार्यों की जानकारी कार्यदायी संस्थाओं से ली तथा निर्धारित अवधि में कार्य पूर्ण न करने वाले कार्यदायी संस्थाओं को फटकार लगाते हुए कार्य में तेजी लाने का निर्देश दिया।

उन्होंने राजकीय बालिका इंटर कालेज मुहम्मदाबाद में भौतिक एवं रसायन विज्ञान प्रयोगशाला निर्माण में धनराशि उपलब्ध होते हुए भी पिछले 6 माह से कार्य प्रारम्भ न होने की दशा मे आरईडी , डीआईओएस एवं प्रधानाचार्य राजकीय बालिका इंटर मुहम्मदाबाद का वेतन रोकने का निर्देश दिया।

जल निगम ग्रामीण द्वारा पाइप पेयजल परियोजना वर्ष 2019-20 के लम्बित 7 परियोजनाओं, जिसमें नसरतपुर , नरियांव , तिवारीपुर , अलावलपुर , रामपुर , साधोपुर , नवापुरा की धीमी प्रगति पर नाराजगी व्यक्त करते हुए ठेकदार पर एफआईआर कराते हुए काली सूची में डालने का सख्त निर्देश भी दिया।

यूपी पीसीएल द्वारा ताजपुर कुर्रा में राजकीय आईटीआई निर्माण तथा उप्र पुलिस आवास निगम द्वारा कराये जा रहे निर्माण कार्यों की में धीमी प्रगति पर नाराजगी व्यक्त करते हुए संबंधित अधिकारी से स्पष्टीकरण मांगा।

जिलाधिकारी ने ऐसे कार्यदायी संस्थाओं की सूची उपलब्ध कराने का निर्देश दिया , जिनके द्वारा धनराशि आवंटन के बाद भी कार्य प्रारम्भ नही किया गया है या कार्य में ढिलाई बरती जा रही है।

उन्होंने ऐसे कार्यदायी संस्थाओं को नोटिस जारी करने का निर्देश दिया। बैठक में जिलाधिकारी ने कार्यदायी संस्थाओं को निर्माण कार्य में मानक के अनुरूप एवं गुणवत्तापुर्ण कार्य कराने का निर्देश दिया। अधूरे कार्य, जो धनाभाव के कारण रूके है, की जानकारी लेते हुए पत्राचार करने का निर्देश दिया। धनावंटन के बाद भी कम प्रगति वाले कार्यों पर नाराजगी व्यक्त करते हुए निर्माण एजेंसी के अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि कार्यों को गुणवत्तापूर्ण एवं मानक के अनुसार निर्धारित समय के अंदर पूरा करने की कार्यवाही सुनिश्चित की जाए।

उन्होंने स्पष्ट किया कि निर्माण कार्यों में किसी भी स्तर पर लापरवाही को बहुत ही गंभीरता से लिया जाएगा और संबंधित विभाग के अधिकारी उसके लिए पूर्ण रूप से जिम्मेदार होंगे। उन्होने कहा कि मुख्यमंत्री की घोषणाओं के कार्यों को प्राथमिकता के आधार पर लेते हुए पूर्ण कराने कराए। कहा कि इसकी समीक्षा सीधे शासन स्तर से की जाती है। बैठक में मुख्य विकास अधिकारी श्रीप्रकाश गुप्ता एवं एडीएसटीओ शैलेंद्र मिश्रा एवं कार्यदायी संस्थाओं के अधिकारीगण उपस्थित थे।

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