उत्तर प्रदेशराज्य

सहायक अभियंता एवं अवर अभियंता की लापरवाही से जगदीशपुर व राघोपुर चकरोड़ निर्माण कार्य अधूरा, ग्रामीणों में भारी आक्रोश ।

ग़ाज़ीपुर ।

जमानियां के सहायक अभियंता संजीव सिंह इन दिनों काफी चर्चा में है। चर्चा का कुछ खास वजह नहीं बल्कि जगदीशपुर व राघोपुर चकरोड़ निर्माण कार्य का है। हर तरफ इन्हीं की चर्चा हो रही है। लोग चाय की चुस्की लेते हुए चट्टी चौराहों पर आपस में बात कर रहे हैं कि, अगर यही हाल रहा तो लोक निर्माण विभाग का विकास तो नामुमकिन है लेकिन विनाश तय है ।

आखिर ऐसे लोगों को सहायक अभियंता की कुर्सी कैसे मिल जाती है। जो सरकारी पैसे का दुरुपयोग करते हैं। निर्माण कार्य को आधा अधूरा छोड़ सरकारी कुर्सी पर राजा की तरह बैठ कर राज करते हैंं। ऐसे लोगों को सहायक अभियंता के कुर्सी पर ना बैठा कर उन्हें देश की सुरक्षा में ड्यूटी लगा देना चाहिए। तब उन्हें पता चलेगा कि सहायक अभियंता की मौज वाली कुर्सी ठीक था कि देश की सुरक्षा वाली। यह लोग सीधे सरकार को बदनाम करना चाहते हैं।

अभी हाल में ही अवर अभियंता चंदन राय एवं सहायक अभियंता संजीव सिंह के लापरवाही के कारण चकरोड़ निर्माण कार्य को लेकर राघोपुर व जगदीशपुर ग्राम सभा में जमकर मारपीट हुई और इतना पत्थर चला था जिसमें कई लोग घायल भी हुए थे, दोनो तरफ से मुकदमा भी दर्ज किया गया था। जब ईट पत्थर चलने लगा तो अवर अभियंता एवं सहायक अभियंता मौका देख भाग निकले।

दबंगों के खिलाफ तहरीर देने के बजाय चुप मार कर बैठ गए। जिससे साफ जाहिर होता है कि इस पूरे मामले में अवर अभियंता एवं सहायक अभियंता की भूमिका संदिग्ध है। यही नहीं अवर अभियंता से जब मीडिया ने दबंगों के खिलाफ कार्यवाही की बात कही तो उन्होंने कहा कि लिखित तहरीर थाने में दी गई है। और जब थानाध्यक्ष से इस संबंध में बात किया गया तो उन्होंने कहां कि मुझे कोई तहरीर नहीं मिली है।

जबकि संबंधित अधिकारी सरकारी चकरोड़ निर्माण कार्य में अवरोध पैदा करने वाले के खिलाफ कार्रवाई की बात भी कही। लेकिन अवर अभियंता चंदन राय एवं सहायक अभियंता संजीव सिंह अधिकारियों की बातों को पतंग की तरह हवा में उड़ा दिये। यह लोग कार्यवाही ना करके दबंगों का मनोबल बढ़ा रहे हैं। उन्हें अपराध करने का बढ़ावा दे रहे हैं। अवर अभियंता चंदन राय एवं सहायक अभियंता संजीव सिंह कागजी घोड़े दौड़ाने एवं झूठ बोलने में काफी माहिर है। सूत्रों के अनुसार इन लोगों के द्वारा कई सरकारी सड़कों में खेल किया गया है। जांच हुई तो पोल खुल जाएगी। और ये लोग सलाखों के पीछे होंगे।

आपको बता दें कि जमानियां तहसील क्षेत्र के नेशनल हाईवे NH24 जो जगदीशपुर व राघोपुर गांव को जोड़ने के लिए लोक निर्माण विभाग की ओर से सरकारी चकरोड़ का निर्माण कार्य कराया जा रहा था। तभी गांव के मनबढ़ व दबंग आलोक कुशवाहा उर्फ पप्पू वर्तमान ग्राम प्रधान, संतोष यादव, नंदलाल यादव (फौजी) अरविंद यादव (फौजी), रामअवतार, रामदयाल, रामदुलारे (नेवी रिटायर्ड) मनोज यादव, रविकांत उर्फ गोलू, कमला यादव, रमाशंकर यादव ने वहां आए और अपनी कश्तकारी को बताते हुए निर्माण कार्य को रोक दिया।जब राजस्व विभाग की टीम एवं लोक निर्माण विभाग की टीम ने उन्हें ऐसा करने से मना किया तो, दबंगोंं ने गाली गलौज करते हुए ईट पत्थर चलाने लगे।

जिसमें राघोपुर व जगदीशपुर ग्राम सभा के आधा दर्जन लोग घायल हो गए। वही राजस्व विभाग व लोक निर्माण विभाग की टीम बाल-बाल बच गई। उधर दबंगों ने कोतवाली में जाकर बसंत यादव जिला पंचायत सदस्य द्वितीय, विशाल यादव, बृजेश यादव मितेश यादव, उमाशंकर कुशवाहा, रविन्द्र उर्फ पंचम पूर्व ग्राम प्रधान जगदीशपुर सहित 6 लोगों के खिलाफ नामजद फर्जी मुकदमा दर्ज कराया।

वही घायल अवस्था में पहुंचे राघोपुर व जगदीशपुर के गांव के लोगों ने भी अपना मेडिकल कराने के बाद थाने पहुंचकर आलोक कुशवाहा उर्फ पप्पू वर्तमान ग्राम प्रधान, संतोष यादव, नंदलाल यादव (फौजी) अरविंद यादव (फौजी), रामअवतार, रामदयाल, रामदुलारे (नेवी रिटायर्ड) रविकांत उर्फ गोलू, कमला यादव, रमाशंकर यादव के सरकारी चकरोड निर्माण कार्य में बाधा उत्पन्न करना साथ ही मारपीट करने का 9 लोगों के खिलाफ नामजद मुकदमा दर्ज कराया।

बताया जा रहा है कई बार उस चकरोड का सीमांकन कराया गया। जो दबंग अपनी कश्तकारी चकरोड़ से सटे हुए बताते हैं और सीमांकन के दौरान यह साफ हो गया कि उन लोगों से चकरोड़ से कोई लेना देना नहीं है। लेकिन उसके बावजूद भी दबंगों में कुछ भाजपा के कार्यकर्ता हैं जो अपनी दबंगई दिखा उसे हड़पना चाहते हैं। जिससे करीब दस गांवों के लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रह है। लोगों के जेहन में एक ही सवाल बार-बार उठ रहा है कि आखिर अवर अभियंता एवं सहायक अभियंता निर्माण कार्य को रोक अपनी सफाई क्यों पेश कर रहे हैं। कहीं ऐसा तो नहीं दबंगों ने उन्हें मोटी रकम देकर चुनाव भर के लिए मुंह बंद कर दिया हो। लोग एक दूसरे से सवाल पर सवाल कर रहे हैं।

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