विदेश मंत्रालय के सतत प्रयासों से लीबिया में एक सशस्त्र समूह द्वारा बंधक बनाये गए 17 भारतीय नागरिकों को सुरक्षित निकाल कर भारत वापस लाया गया है. घटनाक्रम से जुड़े जानकार सूत्रों ने सोमवार को यह जानकारी दी. उन्होंने बताया कि ये भारतीय नागरिक पंजाब और हरियाणा से हैं और वे रविवार की शाम दिल्ली पहुंचे. सूत्रों ने बताया कि ट्यूनिश में भारतीय दूतावास ने भारतीय नागरिकों को सुरक्षित निकालने में महत्वपूर्ण भूमिका निभायी. वहां फंसे भारतीय नागरिकों के परिवार के सदस्यों ने 26 मई को इस मामले पर ट्यूनिश स्थित भारतीय दूतावास का ध्यान आकृष्ट कराया था.
लिबिया के ज्वारा शहर में बना लिए गए बंधक
घटनाक्रम से जुड़े जानकार सूत्रों ने बताया कि भारतीयों को लीबिया के ज्वारा शहर में सशस्त्र समूह ने बंधक बना लिया था. इससे पहले उन्हें अवैध रूप से उस देश में लाया गया था. उन्होंने बताया कि ट्यूनिश में भारतीय दूतावास ने मई और जून में लगातार इस मामले को लीबिया के प्रशासन के समक्ष अनौपचारिक माध्यम से उठाया था.
13 जून को लीबिया प्रशासन इन्हें बचाने में सफल रहा
सूत्रों ने बताया कि 13 जून को लीबिया प्रशासन ने भारतीय नागरिकों को बचाने में सफलता पाई लेकिन अवैध रूप से उस देश में प्रवेश करने को लेकर उन्हें अपनी हिरासत में रखा. सूत्रों ने बताया कि ट्यूनिश में भारतीय राजदूत और नयी दिल्ली से विदेश मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों के उच्च स्तरीय हस्तक्षेप से लीबिया प्रशासन ने इन्हें रिहा करने पर सहमति व्यक्त की.
सूत्रों के मुताबिक कि लीबिया में इन भारतीय नागरिकों के रुकने के दौरान भारतीय दूतावास ने उनकी सभी जरूरतों का ध्यान रखा. चूंकि इनके पास कोई पासपोर्ट नहीं था, ऐसे में उनकी भारत यात्रा करने के लिए उन्हें आपात प्रमाणपत्र जारी किए गए. इसके अलावा भारत लौटने के लिए टिकटों का भुगतान भी भारतीय दूतावास ने किया.