ग़ाज़ीपुर ।
कल दिनांक 1जनवरी को अखिल भारतीय कायस्थ महासभा गाजीपुर के तत्वाधान में उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री, शिक्षाविद्, स्वतंत्रता संग्राम सेनानी डॉ सम्पूर्णानंद जी की जयंती पर महासभा के जिलाध्यक्ष अरुण कुमार श्रीवास्तव के चंदन नगर स्थित आवास पर माल्यार्पण कार्यक्रम एवं विचार गोष्ठी आयोजित हुई । गोष्ठी आरंभ होने के पूर्व महासभा के सभी कार्यकर्ताओं ने उनके चित्र पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए सार्वजनिक जीवन में नैतिकता और ईमानदारी का पालन करने का संकल्प लिया ।
गोष्ठी को संबोधित करते हुए महासभा के प्रांतीय उपाध्यक्ष मुक्तेश्वर प्रसाद श्रीवास्तव ने उनके व्यक्तित्व एवं कृतित्व पर विस्तृत रूप से प्रकाश डालते हुए उन्हें कुशल राजीतिज्ञ, बहुमखी प्रतिभा के धनी, भारतीय संस्कृति और दर्शन के प्रकाण्ड विद्वान होने के साथ-साथ एक जागरूक शिक्षाविद्, गम्भीर, मर्मंज्ञ और उदात्त साहित्यकार बताया ।। सन् 1921 ई. में महात्मा गॉंधी के राष्ट्रीय आन्दोलन से प्रेरित होकर वह आजादी की लड़ाई में कूद पड़े ।उन्होंने बताया कि वह भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के अन्तर्गत प्रथम पंक्ति के सेनानी के रूप में कार्य किया। स्वतंत्रता प्राप्ति के पश्चात् वे उत्तर प्रदेश के गृहमंत्री , शिक्षामंत्री और सन् 1955 ई. में मुख्यमंत्री बने। बाद में सन् 1962 ई. में राजस्थान के राजयपाल नियुक्त हुए ।सन् 1967 ई. में राज्यपाल पद में मुक्त होने पर वाराणसी लोैट आए और मृत्युपर्यन्त काशी विद्यापीठ के कुलपति रहे। दर्शन, जयोतिष, भारतीय संस्कृति, राजनीति, गणित, विज्ञान, शिक्षा और साहित्य आपके चिन्तन और लेखन के विषय है। सन् 1940 र्इ. में वे अशिल भारतीय हिन्दी साहित्य सम्मेलन के सभापति निर्वाचित हुए ।
इस गोष्ठी में मुख्य रूप से जिलाध्यक्ष अरुण कुमार श्रीवास्तव, सत्यप्रकाश श्रीवास्तव, चन्द्र प्रकाश श्रीवास्तव, पियूष श्रीवास्तव, मोहनलाल श्रीवास्तव,शैल श्रीवास्तव, अमरनाथ श्रीवास्तव, विवेक श्रीवास्तव,कमल प्रकाश श्रीवास्तव,गौरव श्रीवास्तव, अवनीश वर्मा,,अमर सिंह राठौर, राजेश कुमार श्रीवास्तव, सुनील दत्त श्रीवास्तव आदि उपस्थित थे ।इस गोष्ठी की अध्यक्षता जिलाध्यक्ष अरुण कुमार श्रीवास्तव वह संचालन जिला महामंत्री अजय कुमार श्रीवास्तव ने किया ।