गाजीपुर ।
न्यायाधीश पॉक्सो प्रथम विष्णुचन्द्र वैश्य की अदालत ने शुक्रवार को नाबालिक पीड़िता को बहलाफुसला कर दुष्कर्म के मामले में माँ बेटे को सजा सुनाते हुए बेटे मंजूर को आजीवन कारावास के साथ एक लाख 10 हजार रुपये के अर्थदंड से दण्डित किया है ।
वही उसकी माँ को 5 वर्ष की सजा सुनाते हुए 10 हजार रुपये के अर्थदंड से दण्डित करते हुए अर्थदंड की धनराशि में से 70 हजार रुपये पीड़िता को देने का आदेश दिया है
अभियोजन के अनुसार थाना करीमुद्दीनपुर के एक गांव की महिला ने थाना करीमुद्दीनपुर में इस आशय की तहरीर दिया कि उसकी नाबालिक लड़की 4 नवम्बर 2016 को उसी के गांव का मंजूर अंसारी जो उसकी लड़की को ट्यूसन व उसके स्कूल में पढ़ती थी उसको बहलाफुसला कर भगा ले गया और गुरु शिष्य के रिश्ते को कलंकित कर दिया ।
वादनी के सूचना पर थाने में मुकदमा दर्ज हुआ और पुलिस ने पीड़िता को बरामद किया और उसका डॉक्टरी कराने के बाद न्यायालय में बयान कराया और विवेचना शुरू की दौरान विवेचना पुलिस ने 4 आरोपी के विरुद्ध न्यायालय में आरोप पत्र पेश किया दौरान विचारण अभियोजन की तरफ से विशेष लोक अभियोजक रविकांत पांडेय ने कुल 7 गवाहों को पेश किया सभी ने अपना अपना बयान न्यायालय में दर्ज कराया दोनो तरफ की बहस सुनने के बाद न्यायालय ने आरोपी सद्दाब उर्फ काजू व चंदन राजभर को संदेह का लाभ देते हुए दोषमुक्त कर दिया वही मंजूर अंसारी व हलीकुननिशा को उपरोक्त सजा सुनाई।